Slogans of adi shankaracharya in hindi



Vahshi bafghi biography books

सनातन परम्परा के प्रसार और हिंदू धर्म के प्रचार व प्रसार में आदि शंकराचार्य का महान योगदान है।

उन्होंने सनातन परम्परा को फैलाने के लिए भारत के चारों कोनों में चार शंकराचार्य मठों श्रृंगेरी मठ, गोवर्द्धन मठ, शारदा मठ और ज्योतिर्मठ की स्थापना की थी । शंकराचार्य ने इन चारों मठों के अलावा पूरे देश में बारह ज्योतिर्लिंगों की भी स्थापना की थी।

ईसा से पूर्व आठवीं शताब्दी में स्थापित किए गए ये चारों मठ आज भी सनातन परम्परा का प्रचार व प्रसार कर रहे हैं ।आदि शंकराचार्य को अद्वैत परम्परा का प्रवर्तक माना जाता है।

उनका कहना था कि आत्मा और परमात्मा एक ही हैं । हमें अज्ञानता के कारण ही ये दोनों अलग-अलग प्रतीत होते हैं । हर साल वैशाख शुक्ल पक्ष की पचंमी तिथि को आदि शंकराचार्य की जयंती मनाई जाती है। आइए आज जानते हैं आदि शंकराचार्य जी के अनमोल विचार

Adi Shankarcharya quotes in hindi

मंदिर वही पहुंचता है जो धन्यवाद देने जाता हैं, मांगने नहीं।

मोह से भरा हुआ इंसान एक सपने की तरह है, यह तब तक ही सच लगता है जब तक आप अज्ञान की नींद में सो रहे होते हैं। जब नींद खुलती है तो इसकी कोई सत्ता नही रह जाती है

तीर्थ करने के लिए कहीं जाने की जरूरत नहीं है। सबसे अच्छा और बड़ा तीर्थ आपका अपना मन है, जिसे विशेष रूप से शुद्ध किया गया हो।

जिस तरह एक प्रज्वलित दीपक के चमकने के लिए दूसरे दीपक की जरुरत नहीं होती है। उसी तरह आत्मा जो खुद ज्ञान स्वरूप है उसे और किसी ज्ञान कि आवश्यकता नही होती है, अपने खुद के ज्ञान के लिए।

जब मन में सच जानने की जिज्ञासा पैदा हो जाए तो दुनिया की चीजे अर्थहीन लगती हैं

हर व्यक्ति को यह समझना चाहिए कि आत्मा एक राजा के समान है जो शरीर, इंद्रियों, मन, बुद्धि से बिल्कुल अलग है। आत्मा इन सबका साक्षी स्वरुप है।

अज्ञान के कारण आत्मा सीमित लगती है, लेकिन जब अज्ञान का अंधेरा मिट जाता है, तब आत्मा के वास्तविक स्वरुप का ज्ञान हो जाता है, जैसे बादलों के हट जाने पर सूर्य दिखाई देने लगता है।

shankarcharya suvichar in hindi

धर्म की किताबे पढ़ने का उस वक़्त तक कोई मतलब नहीं, जब तक आप सच का पता न लगा पाए । उसी तरह से अगर आप सच जानते है तो धर्मग्रंथ पढ़ने कि कोइ जरूरत नहीं है। सत्य की राह पर चले।

आनंद उन्हें मिलता है जो आनंद कि तलाश नहीं कर रहे होते हैं।

एक सच यह भी है की लोग आपको उसी वक्त तक याद करते हैं जब तक सांसें चलती हैं । सांसों के रुकते ही सबसे करीबी रिश्तेदार, दोस्त, यहां तक की पत्नी भी दूर चली जाती है।

आत्मसंयम क्या है?

आंखो को दुनिया की चीजों कि ओर आकर्षित न होने देना और बाहरी ताकतों को खुद से दूर रखना।

शंकराचार्य के सुविचार

सत्य की कोई भाषा नहीं है। भाषा सिर्फ मनुष्य का निर्माण है। लेकिन सत्य मनुष्य का निर्माण नहीं, आविष्कार है।

सत्य को बनाना या प्रमाणित नहीं करना पड़ता, सिर्फ़ उघाड़ना पड़ता है।

ब्रह्मा ही सत्य है और जगत मिथ्या (माया) है

आत्म अज्ञान के कारण ही सीमित प्रतीत होती है, परन्तु जब अज्ञान मिट जाता है, तब आत्मा के वास्तविक स्वरूप का ज्ञान हो जाता है, जैसे बादलों के हट जाने पर सूर्य दिखाई देता है

Categories Quotes in hindiTags adi shankaracharya quotes, adi shankaracharya quotes in hindi, adi shankarcharya bend suvichar, best motivational quotes thump hindi, motivational quotes for genre in hindi, motivational quotes intensity hindi, motivational quotes in sanskrit for students, motivational quotes bring into being hindi for success, sankaracharya quotes, shankaracharya quotes, shankarcharya ke anmol vichar, शंकराचार्य के अनमोल विचारadi sankarcharya suvichar in hindi